नई दिल्ली: पूर्व क्रिकेटर और पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ पार्टी (पीटीआई) के नेता इमरान खान ने शनिवार को पाकिस्तान के नए प्रधानमंत्री के रूप में शपथ ली. पाकिस्तान में बड़ी पार्टी बनकर उभरी पीटीआई के प्रमुख इमरान खान की आज ताजपोशी हुई, जिसमें भारत से पूर्व क्रिकेटर और राजनेता नवजोत सिंह सिद्धू भी शामिल हुए. इस तरह से इमरान खआन देश के 22वें प्रधानमंत्री बन गये हैं. इमरान खान के शपथ ग्रहण के मौके पर उनकी पत्नी बुशेरा मनेका भी मौजूद थीं, वहीं पाकिस्तान के आर्मी चीफ जनरल कमर जावेद बाजवा भी मौजूद थे.

दरअसल, इमरान खान ने आज पाकिस्तान के नये प्रधानमंत्री के रूप में पद और गोपनीयता की शपथ ली. क्रिकेट छोड़कर राजनीति की दुनिया में आने वाले खान पिछले 22 वर्षों से सक्रिय राजनीति में हैं. पाकिस्तान के राष्ट्रपति भवन, एवान-ए-सद्र में आयोजित एक सादे समारोह में पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) प्रमुख 65 वर्षीय खान को राष्ट्रपति ममनून हुसैन ने पद की शपथ दिलाई. समारेाह की शुरूआत राष्ट्रगान से हुई और बाद में कुरान की आयतें पढ़ी गयीं.

1992 में क्रिकेट विश्व कप में पाकिस्तान को जीत दिलाने वाले कप्तान खान ने अपने शपथ ग्रहण समारोह में पुराने साथी क्रिकेटरों को भी बुलाया. सेना प्रमुख जनरल कमर जावेद बाजवा, पूर्व क्रिकेटर नवजोत सिंह सिद्धू, क्रिकेटर से कमांटेटर बने रमीज राजा, पूर्व तेज गेंदबाज वसीम अकरम सहित अन्य कई विशिष्ट अतिथि समारोह में उपस्थित थे.ऑक्सफोर्ड में पढ़ाई करने वाले पश्तून खान ने कल अपने एकमात्र प्रतिद्वंद्वी पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज के प्रमुख शाहबाज शरीफ को नेशनल एसेम्बली में हुए एकतरफा चुनाव में हरा कर प्रधानमंत्री पद के लिए जीत हासिल की.

इससे पहले शुक्रवार को पाकिस्तानी संसद के निचले सदन नेशनल असेंबली में हुए एकतरफा चुनाव में इमरान खान को देश का नया प्रधानमंत्री चुना गया. इमरान खान ने इस मुकाबले में पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) के प्रमुख शाहबाज शरीफ को मात दी. हालांकि, बिलावल भुट्टो जरदारी की अगुवाई वाली पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी), जिसके पास 54 सीटें हैं, के मतदान में हिस्सा नहीं लेने के फैसले के बाद 15वीं नेशनल असेंबली में चुनाव महज एक औपचारिकता रह गई थी. शरीफ की उम्मीदवारी को लेकर पीपीपी और पीएमएल-एन के बीच मतभेद उभरे थे. निचले सदन में हुई इस चुनाव प्रक्रिया में इमरान को 176 वोट मिले जबकि उनके एकमात्र प्रतिद्वंद्वी और पीएमएल-एन के प्रमुख शाहबाज शरीफ को 96 वोट मिले.

सरकार बनाने के लिए नेशनल असेंबली, जिसमें 342 सदस्य हैं, में कुल 172 वोटों की जरूरत होती है. अलग-अलग उम्मीदवारों के लिए बनाई गई अलग-अलग दीर्घा में सदस्यों के मत विभाजन के जरिए खुले में वोटिंग हुई. प्रधानमंत्री चुने जाने के बाद संसद में अपने पहले संबोधन में इमरान खान ने कहा कि पाकिस्तान को लूटने वालों के खिलाफ कार्रवाई करना मेरा पहला काम होगा. उन्होंने कहा कि मैं आज अपने वतन से वादा करता हूं कि हम वह तब्दीली लाएंगे जिसके लिए यह मुल्क लंबे समय से कोशिश करता रहा है. इमरान खान ने अपने संबोधन में कहा कि हमें इस देश में सख्त जवाबदेही कायम करनी है. मैं वादा करता हूं कि मैं पाकिस्तान को लूटने वालों के खिलाफ कार्रवाई करूंगा। जिस काले धन को सफेद किया गया, मैं उसे वापस लाऊंगा. जो पैसे शिक्षा, स्वास्थ्य और पानी पर खर्च होने चाहिए थे, वे लोगों की जेब में चले गए.

मैं ऐसी चुनाव प्रणाली बनाऊंगा जिससे कोई भी व्यक्ति भविष्य में चुनावों में खामियां नहीं तलाश पाए. इमरान ने कहा कि लेकिन कोई मुझे ब्लैकमेल करने की कोशिश नहीं करे. मैं किसी तानाशाह के कंधों पर चढ़कर नहीं आया, मैं 22 सालों के संघर्ष के बाद इस मुकाम पर पहुंचा हूं. सिर्फ एक नेता ने मुझसे ज्यादा संघर्ष किया और वह मेरे हीरो (पाकिस्तान के संस्थापक मोहम्मद अली) जिन्ना थे. भ्रष्टाचार के मामले में दोषी करार दिए गए नवाज शरीफ की तरफ इशारा करते हुए इमरान ने कहा कि वह किसी डकैत के प्रति कोई नरमी नहीं बरतेंगे. इन सब के बीच भारतीय पूर्व क्रिकेटर और नेता नवजोत सिंह सिद्धू शुक्रवार को इमरान खान के बुलावे के बाद लाहौर पहुंचे. वहां से वह इस्लामाबाद जाएंगे. जहां यह शपथ ग्रहण समारोह होना है.

सिद्धू ने पाकिस्तान के लोकतंत्र में चुनाव के बाद आये बदलाव का स्वागत करते हुए कहा कि इमरान को दोनों देशों के बीच अमन की बहाली की पहल करनी चाहिये. उन्होंने कहा कि वह भारत के सद्भावना दूत के रूप में मोहब्बत का पैगाम लेकर पाकिस्तान आये हैं.उन्होंने कहा कि मैं यहां राजनेता के रूप में नहीं बल्कि दोस्त के रूप में आया हूं. मैं यहां अपने दोस्त (इमरान) की खुशी में शरीक होने आया हूं . उन्होंने कहा कि हिन्दुस्तान जीवे, पाकिस्तान जीवे . उन्होंने कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी भी दोनों देशों के बीच अमन की बात करते थे.