लखनऊ: राष्ट्रीय लोकदल के छपरौली विधायक सहेंद्र सिंह रमाला ने सोमवार को अपने समर्थकों के साथ बीजेपी का दामन थाम लिया. बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष डॉ महेन्द्र नाथ पांडेय ने रमाला और उनके साथ शामिल होने वाले दो दर्जन से अधिक ग्राम प्रधानों और दो ब्लॉक प्रमुखों को पार्टी की सदस्यता दिलाई. इसके साथ ही उत्तर प्रदेश की वर्तमान विधानसभा में राष्ट्रीय लोकदल की प्रतिनिधित्व शून्य हो गया है. रमाला उसके एकमात्र विधायक थे.

दरअसल सहेंद्र सिंह रमाला पर राज्यसभा चुनाव के दौरान क्रॉस वोटिंग करने का आरोप लगा था. ज्वाइनिंग के समय बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि रमाला पश्चिमी उत्तर प्रदेश में काफी प्रभाव रखते हैं. इससे पार्टी को उस क्षेत्र में काफी मजबूती मिलेगी. वहीं उन्होंने कहा कि जिस तरह से केन्द्र में मोदी और प्रदेश में योगी की सरकार चल रही है, उनकी नीतियों से प्रभावित होकर इन लोगों ने बीजेपी में शामिल होने का संकल्प लिया है.

राज्यसभा चुनाव के बाद राष्ट्रीय लोकदल की तरफ से विज्ञप्ति जारी की गई थी. जिसमें कहा गया कि राज्य सभा चुनाव में सत्ताधारी पार्टी बीजेपी द्वारा धनबल-बहुबल का प्रयोग कर जीतने का कार्य किया है. बीजेपी ने लोकतंत्र की हत्या कर जीत दर्ज करने का कार्य किया है. पार्टी के प्रवक्ता ने कहा था कि रालोद विधायक ने पार्टी द्वारा जारी दिशा-निर्देश के विपरीत कार्य किया है. इनकी सदस्यता समाप्त करने की मांग को लेकर रालोद जल्द ही निर्वाचन आयोग में शिकायत करेगा. उधर सहेंद्र ने कहा था कि उन्हें पार्टी की ओर से कोई निर्देश नहीं दिए गए थे.