आउट प्रशिक्षण कार्यक्रम में मौलाना मतीनुल हक उसामा क़ासमी का खिताब
कानपुर:- मानवता की सेवा नबी सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम की सीरत की प्रमुख विशेषता है, पीड़ितों व परेशान हाल और गरीब लोगों की सेवा के लिए इस्लाम की विशेष हिदायते हैं। जिन लोगों को योग्य पेशेवरों द्वारा प्रशिक्षित किया जाता है वे सेवाकार्याें में अच्छी तरह प्रशिक्षित होते हैं। इन विचारों कों जमीअत उलमा उत्तर प्रदेश के अध्यक्ष मौलाना मुहम्मद मतीनुल हक़ उसामा क़ासमी ने संगठन जमीअत उलमा ए हिन्द के संरक्षण में स्काउट प्रशिक्षण के तहत आज जमीअत उलमा नगर कानपुर के तहत जाजमऊ में 17-18 और 19 फरवरी के तीन दिवसीय स्काउट प्रशिक्षण शिविर के समापन कार्यक्रम में किया। प्रशिक्षण में जामिया महमूदिया अशरफुल उलूम जाजमऊ हक़ एजुकेशन एंड रिसर्च फाउंडेशन व मदरसा बैतुल उलूम संजय नगर 66 छात्र शामिल हुए।

मौलाना उसामा क़ासमी ने संबोधित करते हुए कहा कि शारीरिक विकास के साथ मानसिक विकास भी होना चाहिए आप सभी को ये सिखाया गया है कि किस तरह आपात स्थितियों में मन को उपस्थित रखते हुए राहत कार्य करना है, क्योंकि अगर मानसिक रूप से अपंग हो जाएंगे तो मस्तिष्क काम नहीं करेगा। इसलिए बराबर पुनर्वालोकन करें । मौलाना ने प्रशिक्षण लेने वाले विद्यार्थियों को नसीहत की और स्काउट प्रशिक्षण के लाभ और लोगों की सेवा के संबंध में महत्व, उपयोगिता पर विस्तृत प्रकाश डाला।

स्काउट एक्सपर्ट गोल्ड मेडलिस्ट नौशाद अहमद और उनके सहयोगी मौलाना हफीजुर्रहमान ने बच्चों को स्वस्थ रहने और शारीरिक फिटनेस के कुछ नियम बताए गए और व्यावहारिक रूप से अभ्यास कराकर उन्हें बारीकियों से परिचित कराया गया। स्वास्थ्य और सेवा आधार पर स्थापित इस स्काउट ट्रेनिंग का उद्देश्य युवाओं में व्यवहारिक भूमिका और दूसरों की मदद के लिये आगे बढ़ने की भावना को बढ़ावा देना है।

प्रशिक्षण के अंतिम दिन जहां बच्चों ने अपनी कला का प्रदर्शन किया वहीं प्रयावरण को स्वच्छ रखने के लिए वृक्षारोपण का महत्व और वृक्षों की उपयोगिता व आवष्यकता पर आधारित एक-कार्यक्रम भी पेश किया।

प्रशिक्षण शिविर के समापन कार्यक्रम में मौलाना नूरुद्दीन अहमद क़ासमी, मौलाना मुहम्मद अकरम जामई, मुफ्ती असदुद्दीन क़ासमी, मौलाना फरीदुद्दीन कासमी, मौलाना हिफ्जुर्रहमान क़ासमी, क़ारी नूरूल हुदा जामई, मुफ्ती मक़सूद अहमद नदवी, क़ारी अब्दुल मुईद चैधरी, मुफ्ती इज़हार मुकर्रम क़ासमी, मौलाना रिजवान साकिबी, मास्टर मुहम्मद दानिश, क़ारी मुहम्मद सिद्दीक, मौलाना ईसा क़ासमी, क़ारी मुहम्मद जुबैर, मुफ्ती नासिर जामई, हाफिज अमीन उल हक़ अब्दुल्ला, मौलाना अयाज अहमद साकिबी , मोहम्मद मेराज सहित बड़ी संख्या में नगर के विषिष्ट लोगों ने भी शिरकत की। मौलाना मुहम्मद मतीनुल-हक उसामा कासमी की दुआ पर कार्यक्रम का समापन हुआ।