लखनऊ: योगी सरकार ने सत्ता में आते ही प्रदेश भर की सभी सड़कों को 15 जून तक गड्ढामुक्त करने आदेश दिया था. युद्धस्तर पर काम भी किया गया और कहा गया कि सड़कें गड्ढामुक्त हो गई हैं. लेकिन हकीकत ये है है कि बारिश में ये सभी सड़कें फिर जस की तस हो गई हैं. अब योगी सरकार गड्ढामुक्त सड़कों की हकीकत परखेगी. इसके लिए पीडब्लूडी के वरिष्ठ अधिकारी और इंजीनियर फील्ड में जाकर सड़कों की हकीकत देखेंगे.

20 से 31 अगस्त तक विशेष अभियान चलाकर सड़कों की जांच की जाएगी. जांच के लिए मुख्यालय से 10 टीमों को भेजा जाएगा.

दरअसल शिकायत मिली थी कि जिन सड़कों को गड्ढामुक्त किया गया है उनकी गुणवत्ता ख़राब होने की वजह से बारिश में बह गए, जबकि कई जगह कागजों पर ही सड़कों को गड्ढामुक्त करने की भी शिकायत मिली है.

15 जून को डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य ने कहा था कि प्रदेश की 70 फ़ीसदी सड़कें गड्ढामुक्त हो चुकी हैं. लेकिन क्षेत्र के एमएलए और एमपी ने सड़कों के गड्ढामुक्त न होने की शिकायत की है. इसके बाद सरकार ने यह फैसला किया.

अधिकारीयों के मुताबिक जिन सड़कों को गड्ढामुक्त किया गया है उनका पूरा ब्योरा विभाग की वेबसाइट पर है. इनमें रेंडम आधार पर अलग-अलग जिलों और क्षेत्रों में सड़कों का चयन कर जांच टीमों को भेजा जाएगा.