जिले में अब तक चार सौ बीघे से अधिक गेहू की फसल हुई राख

सुलतानपुर। अग्निकांड की घटनाओं में विद्युत विभाग की उदासीनता कम नही है। ढीले व जर्जर तारों के चलते शार्ट सर्किट से आग की घटनाए आम हो गई है। खून पसीने से तैयार किसानों को पीला सोना आग की भेट चढ़ रहा है। अभी तक जिले भर में चार सौ बीघे से अधिक गेहू की फसल जलकर राख हुई है। जिसके चलते किसान खून के आंसू रोने को मजबूर है। अभी तक विद्युत महकमा जर्जर तारों को ठीक करने की कवायद तक नही शुरू किया है।

पखवारों भर में जिले के विभिन्न स्थानों पर प्रतिदिन अग्निकांड की घटनाए हुई है। इन घटनाओं में आधे से अधिक अग्निकांड की घटना विजली के तारों की सार्ट सर्किट से हुई है। खेतों की सिचांई के लिए किसानों ने टयूबेल लगावाए थे। जिनमें बिजली का कनेक्शन हुआ है। खेतों के ऊपर गए तार काफी सालों से नही बदले गए है। जो जर्जर होने के चलते लटकते रहते है। गर्मी का मौसम है। ऐसे में बिजली की ओवरलोडिंग चल रही है। ऐसे में तारों पर जब बिजली का लोड बढ़ता है तो वह और झूलने लगते है। पछुआ हवाए भी तारों को हिलाने में हिस्सा बनती है। ऐसे में तारो के शार्ट सर्किट से निकलने वाली चिंगारी खेतों पर गिरती है तो आग की घटनाए हो रही है।

अभी तक हुई आग की घटनाओं पर नजर डाले तो प्रतिदिन कही न कही आग से गेहू की फसल जलकर नष्ट हुई है। शनिवार को हलियापुर कस्बे के निकट बिजली के तारों से शार्ट सर्किट हुई जिसके चलते पचास बीघे की फसल देखते-देखते धू-धू कर जल उठी। रविवार को भी हलियापुर थाना क्षेत्र में आग लगने से लगभग चालीस बीघे गेहू की फसल जलकर राख हुई। इसी बीच दोस्तपुर थाना क्षेत्र के बभनगवां गांव में लगभग चार बीघे गेहू की फसल जली। रामगंज कस्बे में भी एक किसान का लगभग एक बीघे गेहू जला। जयसिंहपुर थाना क्षेत्र के सुरौली गांव में आग लगने से लगभग तीस बीघे गेहू की फसल जलकर राख हुई। हलियापुर कस्बे के निकट लगभग तीस बीघे जमीन में शीशम व सगौन के पेड़ लगाए गए है। कृषि विभाग की तरफ से लगाए गए इस घने बाग में अज्ञात काराणों से आग लगी और लाखों रूपए के पेड़ जल गए। अग्निशमन की दो-दो टीमे आई कई घंटे मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया गया। इसके पहले भी चार अपै्रल को कादीपुर, जयसिंहपुर व धम्मौर इलाके में लगी आग से लगभग बीस बीघे गेहू की फसल राख हो गई।

इस सम्बंध मंे विद्युत विभाग के अधीक्षण अभियंता एनके सिंह से बात की गई तो उन्होने कहा कि उन्हे भी अग्निकांड के घटनाओं की जानकारी है। जिले मे जर्जर व पुराने तारों को बदलने का स्टीमेट बनाने की जिम्मेदारी सर्किल एसडीओं को दी गई है। बजट आते ही तारों को बदलने का काम किया जाएगा। उन्होने बताया कि एसडीएम से विद्युत तार से जले गेहू की फसल की भरपाई के लिए सर्वे कराया जा रहा है। आख्या आने के बाद शासन से दिशा निर्देश मिलने पर किसानों को सहायता राशि दी जाएगी। मुख्यमंत्री का सख्त आदेश है कि किसानों की फसल के हुए नुकसान का उचित मुआवजा देने का निर्देश हुआ है।