अजमेर: ऑल इंडिया उलमा व मशायख बोर्ड अजमेर इकाई के कार्यालय में एक प्रेस वार्ता आयोजित हुई जिसको बोर्ड के संस्थापक और राष्ट्रीय अध्यक्ष मौलाना सैयद मोहम्मद अशरफ किछौछवी, संयुक्त सचिव सैयद सलमान चिश्ती और राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य शाह अम्मार अहमद नय्यर मियां ने संबोधित किया।

हजरत मौलाना किछौछवी ने मीडिया के जरिए पूरी दुनिया को हज़रत ख्वाजा गरीब के उर्स की मुबारकबाद पेश की और कहा कि ख़्वाजा ग़रीब नवाज़ की शिक्षाओं में से एक महत्वपूर्ण शिक्षा है 'मुहब्बत सब से, घृणा किसी से नहीं'' हमें इसे अपने आचार विचार में लाना होगा और इसे अपनाने का सब से आसान तरीका यह है कि हम जिसका उल्लेख करें भले ही उससे हमारी नाराजगी हो उसकी अच्छाइयों का ज़िक्र करें, इससे धीरे-धीरे उसके दिल में मुहब्बत पैदा हो जाएगी और नफरत ख़त्म हो जाएगी।

मौलाना ने आगे कहा कि ख़्वाजा ग़रीब नवाज़ की शिक्षाओं पर अमल करके ही दुनिया भर में शांति और और भाईचारे का वातावरण बन सकता है।

शाह अम्मार अहमद अहमदी 'नैयर मियाँ''ने कहा कि सूफी संतों की शिक्षाओं से ही बदलाव संभव है। हमें चाहिए कि हम हज़रत ग़रीब नवाज़ की मोहब्बतों की शिक्षाओं को आम करें और उसे व्यावहारिक जीवन में भी उतारें। उन्होंने प्रसन्नता व्यक्त की कि आल इंडिया उलमा व मशाईख बोर्ड इस काम को अच्छे तरीके से अंजाम दे रहा है।

बोर्ड के संयुक्त सचिव सैयद सलमान चिश्ती ने पूरे आलम को उर्से ग़रीब नवाज़ की बधाई देते हुए कहा कि ये 805 वां उर्स है और यहाँ का शाकाहारी लंगर राष्ट्रीय एकता का प्रतीक है। सरकार ग़रीब नवाज़ का फ़ैज़ सबके लिए सामान है। मुहब्बत ही एक ऐसा हथियार है जिससे नफरतों का सामना किया जा सकता है।