नई दिल्ली। विदेश से लौटे कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी के पीएम मोदी पर हमले को लेकर भारतीय जनता पार्टी ने पलटवार किया है। अमेठी से राहुल के खिलाफ लोकसभा चुनाव लड़की चुकीं केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी ने राहुल को जवाब दिया है। इसके अलावा बीजेपी प्रवक्ता और कई नेताओं ने भी राहुल पर हमला बोला है। वहीं आरएसएस ने भी राहुल को निशाने पर लिया।

स्मृति ने कहा, कल कुछ वाक्य राहुल जी ने देश के पीएम के संदर्भ में कहे। चुनावों में कांग्रेस की हार इस बात का संकेत है कि जनता मोदी में विश्वास दिखा चुकी है। राहुल छुट्टी से लौटने के बाद आत्मचिंतन के बाद थोड़ा विचलित हुए होंगे। मोदी की पॉपुलरिटी बढ़ रही है। ओछी टिप्पणी करना स्वाभाविक है। जनता का सहयोग जनता का विश्वास राहुल गांधी के लिए सबसे बडा जवाब है। अमेठी से चुनाव लड़ चुकी हूं। जिस व्यक्ति ने 10 साल में अमेठी का विकास नहीं किया, जिन्होंने पूरे प्रदेश को विश्व में ताकत के रूप में प्रस्तुत किया है, उन पर टिप्पणी कर रहा है। जनता निरंतर अपना समर्थन पीएम को देती है।

वहीं बीजेपी प्रवक्ता श्रीकांत शर्मा ने कहा कि राहुल झूठ बोलने की मशीन बन चुके हैं। छुट्टी से आए हैं। छुट्टी संशय पैदा करती है, कहां गए थे? कभी लाइन में लगते हैं। देश का आमजन पीएम के साथ है। विदेश जाते हैं, फिर भी पीड़ित हैं। कांग्रेस पार्टी करप्शन की जननी है। उसने काले धन का संचय किया है। पीड़ा तो राहुल को होगी, ये लड़ाई देश के लोगों की लड़ाई है। आपकी शब्दावली गांव के गरीबों का अपमान है। अब तो आपके चेहरे पर कांग्रेस के चेहरे पर कालिख भी पुतनी चाहिए। कोर्ट ने सारे आरोप खारिज कर दिए हैं। देश बदल रहा है। अब उनके झूठ यहां नही चलने वाले। अपशब्द बयानबाजी करने वाले लोगों को लोकतंत्र का चाबुक ठीक करती है। राहुल अंहकार में हैं। बेल पर चल रहे हैं। करप्शन सोनिया के घर के बाहर पहुंच चुका है। बौखलाहट में गुमराह करने की कोशिश कर रहे हैं।

वहीं संघ विचारक राकेश सिन्हा ने भी राहुल को आड़े हाथों लिया। सिन्हा ने कहा, उनकी वंशवादी राजनीति है। आरएसएस के योगदान को समझने के लिए राहुल को राजनीति का एबीसी समझना होगा। राहुल दिनोंदिन भारतीय विमर्श को नीचे ले जा रहे हैं। मोदीजी ने कांग्रेसमुक्त भारत की बात कही है उसमें बीजेपी से ज्यादा राहुल भूमिका निभा रहे हैं। अगले चुनाव में कांग्रेस 44 से चार पर ना आ जाए। राहुल गांधी का मानसिक संतुलन ठीक नहीं है। मन में राजपरिवार की संतति है। बौद्धिक स्तर इतना निम्न है। सबसे निम्न स्तर के बौद्धिक स्तर वाले राहुल गांधी हैं। नेहरू ने भी गोलवलकर के खिलाफ भी अपशब्दों का इस्तेमाल नहीं किया। राहुल सभी मर्यादाओं को तोड़ रहे हैं। राष्ट्रीय पार्टी के इतने बड़े नेता को अपना आत्मअवलोकन करना चाहिए।