सरकारी दुकानों पर धड़ल्ले से बेची जा रही है मिलावटी अंग्रेजी शराब

सुलतानपुर। तहसील क्षेत्र जयसिंहपुर में शराब माफियाओं के मिलीभगत के आगे बेबस और लाचार दिखती आबकारी विभाग व क्षेत्रीय पुलिस नतमस्तक नजर आ रही है। जिससे माफियाओं के हौसले आसमान पर है। वो साथ-साथ विभागीय सरकारी महकमा भी किसी शराब माफिया से कम नजर नहीं आ रहे है, जो अपनी जेब भरने के चक्कर में आमजन जीवन के जिन्दगी के साथ खिलवाड़ करने में लगे हुए है।

सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार क्षेत्रीय पुलिस इस मामले में कभी-कभी बहुत सशक्त दिखती है मगर चन्द्र रूपयों में ही सिमटकर रह जाती है, और अवैध शराब का क्षेत्रीय पुलिस द्वारा नवीनीकरण कर दिया जाता है, रही बात आबकारी महकमा की तो उनके कार्य निराले ही है ग्रामीण क्षेत्रों में तो शराब माफिया अधिकारियों के सर पर चढ़कर बोलते है। उदाहरण के लिए अभी हाल ही में शराब इंस्पेक्टर सन्तोष सिंह अपने हमराहियों के साथ पाल नगर अठैसी, रामपुर, पीढ़ी, बिरसिंहपुर आदि लगभग दर्जनों अवैध शराब के ठिकानों पर दबिश डाले मगर ढाक के तीन पात ही साबित हुए। जबकि आबकारी पुलिस द्वारा कुछ अवैध शराब भी जब्त किये गये थे, लेकिन शराब माफिया है कि आगे-आगे पुलिस गयी और पीछे-पीछे उसी ठिकानों पर शराब बिक्री फिर शुरू कर दी गई। फिलहाल अब तो शराब माफियाओं का नया फंडा शुरू हो गया जिसमें पूरा आबकारी विभाग की छुप जाता है। सरकारी शराब की दुकानों पर तो लगभग ओवररेटिंग बन्द हो गई है लेकिन माफियाओं के मकड़जाल से सरकारी दुकान नही छूट पा रही है क्योंकि लोग बतातें है कि क्षेत्र में लगभग सरकारी शराब की दुकानों पर चाहे वो देशी हा या अंग्रेजी सब पर मिलावटी शराब की बिक्री जोरों पर चल रही है। नाम न प्रकाशित होने की शर्त पर कुछ लोगों ने बताया कि सेल्समैन की हालत ये है कि आपत्ति करने पर खुलेंआम जबाव दिया जाता है कि क्षेत्रीय पुलिस तो जो लेती है वो लेती है आबकारी अधिकारियों के पास भी मोटी रकम की भरपाई की जाती है, तो आप शिकायत किससे करेगें? जहां आमजनता को एक का दो खर्चा पड़ना पड़ता है वहीं विभाग द्वारा आमजनता की जेब पर डाका डाला जा रहा है।