सुलतानपुर। जमीअत उलमा हिन्द के अध्यक्ष सैयद अरशद मदनी ने पीएम मोदी को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि नफरत फैलाने वाले मनमानी करते हैं, तब खामोश रहते हैं। घर वापसी, लव जेहाद, दलितों पर अत्याचार व मुलसलमान और ईसाई को वोट का हक छिनने जैसे नफरत के मुद्दों पर नहीं बोलते। उन्होंने तीन तलाक मसले पर पीएम को चेतावनी देते हुए कहा कि देश का मुसलमान इस्लामी कानून में बदलाव को बर्दाश्त नहीं करेंगा।

सैयद मदनी यहां खुर्शीद क्लब के मैदान में शनिवार को राष्ट्रीय एकता सम्मेलन को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि इस्लाम में औरतें सुरक्षित हैं। उन्हें कोई खतरा नहीं है। मुस्लिम पर्सनल ला में किसी प्रकार का बदलाव नहीं होने देंगे। उन्होंने कौम के लोगों को नसीहत दी की इस मुददे पर सियासी बयानबाजी को लेकर उछलकूद न करें। इससे नफरत फैलाने वाले अपने मकसद में कामयाब होंगे। उनकी मंशा ही है कि मुसलमान जितना आक्रामक होगा उनका वोट बैंक मजबूत होगा। उन्होंने कहा कि मुल्क में फिरकापरस्त ताकतों ने नफरत को जो जन्म दिया है अब वे जवान हो चुकीं है। उन्हें दूध पिलाया जा रहा है। हम खतरों को महसूस कर आगाह कर रहे है कि नफरत से सभी को नुकसान है चाहे वे हिन्दू हो या मुसलमान। नफरत की आग में देश का बटवारा तक हो चुका है। मदनी ने कहा कि सभी को अपनी मर्जी से धर्म और मुहब्बत का अधिकार है। लव जेहाद और घर वापसी के नाम पर हम दहशत के खिलाफ हैं। उन्होंने कहा यह कैसी घर वापसी का फरमान कि मुसलमान और इसाई अपना धर्म छोड़ कर हिन्दु धर्म अपना लें। अपनी मर्जी से शादी करने वालों का कत्ल कर दो। उन्होंने कहा कि यह सब एक आदमी कह रहा है और उसके दीवाने उस पर कूद रहे हैं। पर, देश के लोगों ने उसे नकार दिया है। उन्होंने कहा कि देश का पीएम सबका है। वह एक तबके का नहीं है। हम पीएम मोदी की इज्जत करते हैं। पर, उनकी नीतियों के खिलाफ हैं। इससे पहले संगठन के प्रदेश अध्यक्ष सैयद अशद रसीदी ने कहा कि इस मुल्क की आजादी हिन्दु और मुसलमान दोंनो का योगदान है। अध्यक्षता मौलाना अब्दुल रब और संचालन सिराज हाशमी रहे। संयोजक मौलाना श्वालेह काशमी सहसंयोजक मौलाना तुफैल और मौलाना उसमान काशमी, मौलाना मंजूर अहमद रहे।