लखनऊ: विद्युत विभाग के ’’विद्युत कर्मचारी संयुक्त संघर्ष समिति’’ द्वारा अपनी जायज मांगों को लेकर किये जा रहे लोकतांत्रिक अधिकार के रूप में कर रहे शांति पूर्ण आन्दोलन को स्थानीय प्रशासन द्वारा जिस निर्दयता के साथ प्रदेश भर से आये मजदूर (कर्मचारी) वर्ग के साथ व्यवहार किया है, उन्हें लाठी डंडों से पीटने के बाद उल्टे उन्हीं पर दण्ड प्रक्रिया संहिता की धाराओं में मुकदमा पंजीकृत कराकर परेशान किया जा रहा है राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद, उ0प्र0 के प्रा0 अध्यक्ष हरि किशोर तिवारी वरिष्ठ उपाध्यक्ष युदवीर सिंह महामंत्री अतुल मिश्र एवं वरिष्ठ कर्मचारी नेता भूपेश अवस्थी, शिवबरन सिंह यादव, सतीश चन्द्र श्रीवास्तव, एस0के0 रावत सहित अन्य पदाधिकारियों ने शासन के इस कृत के घोर भर्त्सना एवं निन्दा की तथा मांग की है कि यदि शीघ्र ही शांतिपूर्ण आन्दोलन कर रहे कर्मचारियों को बिना शर्त रिहा करते हुये मुकदमें वापस नहीं लिये जाते हैं तो कर्मचारियों के साथ प्रदेश में राज्य कर्मचारियों के सबसे बड़े संगठन के कारण परिषद भी अपनी नैतिक जिम्मेदारी मानते हुये उनका साथ देने हेतु विवश होगा। जिसकी सम्पूर्ण जिम्मेदारी सरकार की होगी।