मुंबई। महाराष्ट्र के स्थानीय निकाय चुनाव के दो दौर तो बीजेपी ने जीत लिए, लेकिन तीसरा दौर आते-आते कांग्रेस और एनसीपी ने बीजेपी को जमकर टक्कर दी। अबतक मिले चुनाव नतीजों के हिसाब से 19 में से बीजेपी को जहां आठ नगराध्यक्ष पद मिले हैं, वहीं कांग्रेस भी आठ और एनसीपी एक नगराध्यक्ष पद पर कब्जा जमाने में कामयाब रही। जाहिर है बीजेपी अब यह नहीं कह सकती कि नोटबंदी का उसे बहुत फायदा मिल रहा है। हालांकि, बीजेपी को पिछले दौर में 5 नगराध्यक्ष पदों पर जीत मिली थी।
महाराष्ट्र में हो रहे स्थानीय निकाय चुनाव के दो दौर जीतने के बाद सबकी नजरें तीसरे दौर पर थी। तीसरे दौर में जिन चार जिले भंडारा, औरंगाबाद, नांदेड़ और गढ़चिरौली में चुनाव हो रहे थे। वहां सिर्फ गढ़चिरौली छोड़कर बाकी तीन जिले कांग्रेस-एनसीपी के गढ़ माने जाते हैं। लेकिन यहां बीजेपी बड़ी जीत हासिल करने में कामयाब रही।
सबकी उम्मीदों के इतर स्थानीय निकाय चुनाव के 19 नगर परिषद से 8 जगहों पर बीजेपी का नगराध्यक्ष पद हासिल करने में बीजेपी को कामयाबी मिली। वहीं इन चुनावों में लगातार हार का मुंह देख रही कांग्रेस ने पहली बार बीजेपी को कड़ी टक्कर देते हुए सम्मानजनक जीत हासिल की। 19 में से 8 नगराध्यक्ष पद कांग्रेस की झोली में भी आए। वहीं इस बार भी शरद पवार की पार्टी एनसीपी के हाथ निराशा ही लगी। कांग्रेस सांसद अशोक चव्हाण अपने गढ़ नांदेड़ को बचाने में कामयाब रहे।
चुनाव के तीसरे दौर के नतीजों में कांग्रेस की वापसी ये तो संकेत दे रही है कि लोग भले ही नोटबंदी से नाराज ना हों, लेकिन एटीएम और बैंक में कैश की कमी की वजह से लोगों की नाराजगी बीजेपी को भारी पड़ सकती है।