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बाबरी मस्जिद और रफाएल डील पर फैसला सुनाने वाले पूर्व CJI और भाजपा सांसद रंजन गोगोई के खिलाफ तृणमूल कांग्रेस ने एक टीवी चैनल को दिए गए उनके इंटरव्यू को आधार बनाकर विशेषाधिकार हनन का नोटिस दिया है.

दरअसल जस्टिस गोगोई ने राज्यसभा में उनकी बेहद कम उपस्थिति को लेकर पूछे गए सवाल पर एक टीवी चैनल को दिए इंटरव्यू में कहा था कि मैं जब पसंद करूंगा, तब मैं राज्यसभा जाऊंगा.

तृणमूल कांग्रेस ने उनके इसी बयान को आधार बनाकर एक नोटिस दिया है, जिसमें पार्टी ने कहा है कि जस्टिस गोगोई का बयान राज्यसभा की अवमानना है और यह उच्च सदन की प्रतिष्ठा का महत्व कम करने वाला है. यह विशेषाधिकारों के हनन का मामला बनता है. इस नोटिस में जस्टिस गोगोई के बयान का विवादित अंश भी शामिल किया गया है.

जस्टिस गोगोई ने इंटरव्यू में कहा था, बैठने की व्यवस्था को लेकर, मैं खुद को सहज नहीं पाया. मैं राज्यसभा जाता है, जब मैं पसंद करता हूं, जब मुझे लगता है कि ये महत्वपूर्ण विषय है, जिस पर मुझे अपनी बात रखनी चाहिए. मैं नामित सदस्य हूं, मैं किसी पार्टी व्हिप से बंधा हुआ नहीं हूं. लिहाजा जब भी पार्टी सदस्यों को सदन में उपस्थित होने के लिए निर्देश किया जाता है, तो वह मुझ पर बाध्य नहीं होता. मैं अपनी इच्छानुसार वहां जाता हूं और आता हूं.