नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज नये संसद भवन की आधारशिला रखी। मोदी ने इस ऐतिहासिक मौके पर आयोजित एक समारोह में भूमि पूजन के बाद अपराह्न एक बजकर 11 मिनट पर नये संसद भवन की आधारशिला रखी। इस अवसर पर लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला, केंद्रीय मंत्रिमंडल के कई वरिष्ठ सदस्य तथा बड़ी संख्या में सांसद मौजूद थे।

नया संसद भवन आत्मनिर्भर भारत का गवाह बनेगा
पीएम ने कहा कि ‘नया संसद भवन आत्मनिर्भर भारत का गवाह बनेगा. पुराने भवन से देश की आवश्यकताओं की पूर्ति हुई, लेकिन नए संसद भवन से 21वीं सदी की आकांक्षाएं पूरी होंगी। हम भारत के लोग मिलकर अपनी संसद के इस नए भवन को बनाएंगे। और इससे सुंदर क्या होगा, इससे पवित्र क्या होगा कि जब भारत अपनी आजादी के 75 वर्ष का पर्व मनाए, तो उस पर्व की साक्षात प्रेरणा, हमारी संसद की नई इमारत बने।’

2022 तक पूरा होना है निर्माण
नये संसद भवन का निर्माण 2022 तक पूरा होना है। देश की आजादी के 75वें वर्ष में नये भवन में बैठक शुरू होगी। नया संसद भवन आधुनिक तकनीक से लैस होगा। इसमें सुरक्षा के लिए अत्याधुनिक उपकरण लगे होंगे। साथ ही भविष्य को ध्यान में रखते हुये लोकसभा और राज्यसभा कक्षों में सदस्यों के लिए सीटों की संख्या भी बढ़ाई जायेगी।

टाटा प्रोजेक्ट्स लिमिटेड को मिला है ठेका
गौरतलब है कि नए भवन का निर्माण सेंट्रल विस्टा पुनर्विकास परियोजना के अंतर्गत किया जा रहा है, जिसका ठेका टाटा प्रोजेक्ट्स लिमिटेड को दिया गया है, जिसके बारे में ओम बिड़ला ने कहा था कि 75वें स्वतंत्रता दिवस तक नए संसद भवन तैयार हो जाएगा।

सुप्रीम कोर्ट ने निर्माण कार्य पर लगा रखी है रोक
बता दें कि शिलान्यास के बाद भी निर्माण कार्य शुरू नहीं हो पाएगा क्योंकि सुप्रीम कोर्ट ने नई संसद सहित कई सरकारी इमारतों वाले सेंट्रल विस्टा प्रोजेक्ट में किसी भी निर्माण पर फिलहाल रोक लगा रखी है, सेंट्रल विस्टा प्रोजेक्ट को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर 5 नवंबर को कोर्ट ने फैसला सुरक्षित रखा था।