नई दिल्ली: वस्तु एवं सेवा कर प्रणाली में इस महीने मासिक रिटर्न दाखिल करना आम करदाताओं के लिए बेहतर अनुभवों से भरा होगा। जीएसटी नेटवर्क (GSTN) ने अपने पोर्टल पर रिटर्न को लिंक करने को लेकर कुछ महत्वपूर्ण सुविधाएं प्रदान की हैं, जिसका उद्देश्य जीएसटीआर-3बी की फाइलिंग प्रक्रिया को सरल बनाना है।

आमतौर पर करदाता जीएसटीआर-3बी फाइल करते समय दो मुख्य समस्याओं का सामना करते हैं। ये उनकी लाइबिलिटी और इनपुट टैक्स क्रेडिट (ITC) से संबंधित होते हैं। अभी तक करदाताओं को इन दोनों आंकड़ों की गणना करने के लिए काफी समय खर्च करना पड़ता था। अब यह काम दो महत्वपूर्ण फ़ंक्शनैलिटी के माध्यम से सिस्टम द्वारा स्वतः पूरा कर लिया जाएगा।

आउटवर्ड सप्लाई स्टेटमेंट मासिक जीएसटीआर-1 को फाइल करने के ठीक बाद सिस्टम ब्रेक-अप के साथ लाइबिलिटी की गणना करेगा और इसे करदाता के जीएसटीआर-3बी डैशबोर्ड पर पीडीएफ़ डॉक्यूमेंट के रूप में उपलब्ध कराएगा। मिलान के बाद इस डेटा का उपयोग जीएसटीआर-3बी दाखिल करने के लिए अगस्त 2020 और उसके बाद किया जा सकता है। इस समय यह यह सुविधा मासिक जीएसटीआर-1 फाइल करने वालों के लिए उपलब्ध है। त्रैमासिक रूप से जीएसटीआर-1 फाइल करने वालों के लिए यह फ़ंक्शनैलिटी अगले कुछ महीनों में उपलब्ध होगी।

इस सुविधा के तहत सिस्टम टैक्सपेयर के सप्लायर द्वारा दी गई जानकारी के आधार पर इन्वाइस ब्रेक-अप के साथ आईटीसी स्टेटमेंट को ऑटो-जेनरेट करेगा। इसका मतलब यह है कि करदाता यह जान सकता है कि महीने के लिए कितना आईटीसी उपलब्ध है। इस उद्देश्य के लिए एक नया फॉर्म जीएसआर टी-2बी लॉन्च किया गया है। यह जीएसटीआर-2ए स्टेटमेंट से भिन्न है, क्योंकि 2बी एक स्टैटिक डाक्युमेंट है। इसे प्रत्येक महीने के लिए अगले महीने के 12वें दिन उपलब्ध कराया जाएगा।