नई दिल्ली: एलएसी पर भारत और चीन के विवाद के बीच तनाव बरकरार है। इस बीच केंद्र सरकार ने भारत चीन सीमा पर चल रही सड़क परियोजनाओं की सोमवार को समीक्षा की। सरकार ने मौजूदा प्रोजेक्ट में 32 परियोजनाओं के काम में तेजी लाने का निर्णय लिया है और सभी संबंधित एजेंसियों को फास्ट ट्रैक परियोजनाओं को सहयोग करने का निर्देश दिया है।

गृह मंत्रालय ने बुलाई थी बैठक
गई बैठक में केंद्रीय लोक निर्माण विभाग (सीपीडब्ल्यूडी), सीमा सड़क संगठन (बीआरओ) और भारत तिब्बत सीमा पुलिस (आईटीबीपी) समेत अन्य ने हिस्सा लिया। बैठक की एक अधिकारी ने बताया कि चीन के साथ सीमा पर 32 सड़क परियोजनाओं पर काम शीघ्र किया जाएगा और सभी संबंधित एजेंसियां अपना सहयोग फास्ट ट्रैक परियोजनाओं को देंगी। यह कदम ऐसे समय में उठाया गया है जब लद्दाख सेक्टर में भारतीय सेना और चीन की पीपल्स लिबरेशन आर्मी (पीएलए) के बीच टकराव चल रहा है।

लद्दाख में बीआरओ कर रहा है तीन सड़कों का निर्माण
अधिकारी ने बताया कि लद्दाख में बीआरओ कम से कम तीन अहम सड़कों का निर्माण कर रहा है। सड़कों के अलावा, बिजली, स्वास्थ्य, दूरसंचार और शिक्षा जैसे सीमा बुनियादी ढांचे के विकास से संबंधित अन्य परियोजनाओं को भी प्राथमिकता दी जाएगी। मंत्रालय के अधिकारियों के मुताबिक, हाल के सालों में भारत चीन सीमा से सटे इलाकों में सड़क निर्माण के कामों में तेजी आई है।

470 किलोमीटर सड़क के लिए फॉरमेशन कटिंग का काम पूरा
अधिकारियों के मुताबिक, 2017 से 2020 के बीच सीमा से सटे इलाकों में 470 किलोमीटर सड़क के लिए रास्ता बनाने (फॉरमेशन कटिंग) का काम पूरा किया गया जबकि 2008 से 2017 के बीच यह सिर्फ 230 किलोमीटर था। 2017-20 के बीच 380 किलोमीटर सड़क के लिए रास्ता साफ किया गया। उन्होंने बताया कि 2014-20 के बीच छह सुरंग सड़कों का निर्माण किया गया जबकि 2008 से 14 के बीच सिर्फ एक सुरंग सड़क का निर्माण किया गया था। इसके अलावा 19 सुरंग सड़कें योजना के चरण में हैं।