कोविड संबंधी सवालों के जवाब केे लिए हेल्पलाइन नंबर 9020774400 जारी

पटना: पूरा राज्य कोरोनावायरस की चपेट में है, ऐसे मेें बिहार सरकार की पहल बिहार फाउन्डेशन ने लोगों की मदद के लिए निरोगस्ट्रीट (एक आयुर्वेदिक हेल्थकेयर संगठन) के सहयोग से कोविड 19 काॅल सेंटर की स्थापना की है। बिहार के लोग अब 9020774400 पर फोन कर विशेषज्ञ डाॅक्टरों से कोविड-19 से संबंधित सवालों के जवाब पा सकते हैं। इस काॅल सेंटर केे ज़रिए उन्हें बिहार के स्वास्थ्य विभाग द्वारा जारी निर्देश एवं अन्य जानकारियां उपलब्ध कराई जाएंगी। इससे वे कोविड-19 के लिए कन्सलटेशन भी पा सकेंगे। इसके अलावा इस नंबर पर फोन कर व्यक्ति आक्सीजन सिलिंडर भी पा सकता है जो बिहार फाउन्डेशन के लिए काम करने वाले स्वयंसेवियों के नेटवर्क के ज़रिए उपलब्ध होंगे।

वर्तमान में बिहार फाउन्डेशन के पास कोविड-19 मरीज़ों की मदद के लिए 267 आक्सीजन सिलिंडर उपलब्ध हैं। इनमें से 63 सिलिंडरों का इस्तेमाल बिहार के 15 ज़िलों में कार्यरत 16 स्वयंसेवकों की टीम द्वारा किया जा रहा है। वे बिहार के हर ज़िले में कम से कम एक स्वयंसेवी के नेटवर्क के साथ 1000 सिलिंडरों का आक्सीजन बैंक स्थापित करने की योजना बना रहे हैं।

इस पहल के बारे में बात करते हुए श्री राम कुमार, संस्थापक, निरोगस्ट्रीट ने कहा, ‘‘देश में कोविड-19 के खिलाफ़ लड़ाई को मजबूत बनाने के लिए यथासंभव हर प्रयास करना ज़रूरी है। आज भी लोगों को ज़रूरत के समय उचित चिकित्सकीय सहायता एवं मार्गदर्शन नहीं मिल पा रहा है। ऐसे में यह काॅल सेंटर बिहार के लोगों के लिए मददगर साबित होगा। यह सुनिश्चित करेगा कि कोविड-19 के बारे में लोगों को उनके सवालों के जवाब मिले, ज़रूरतमंद मरीज़ों तक आॅक्सीजन सिलिंडर पहुंच सकें। जहां एक ओर बीमारी के इलाज के लिए काम किया जा रहा है, वहीं दूसरी ओर आहार एवं आयुर्वेदिक उपचार से उनकी इम्युनिटी बढ़ाना भी ज़रूरी है। हम इस महामारी से लड़ने के लिए यथासंभव हर प्रयास कर रहे हैं।’’

यह उल्लेखनीय है कि बिहार में कमज़ोर आर्थिक वर्गों को कोविड-19 से राहत हेतु सहयोग प्रदान करने के लिए इस काॅल सेंटर की स्थापना की गई है। यह राज्य में कार्यरत स्वयंसेवियों के सहयोग से ही संभव हो पाया है। प्रतिष्ठित संगठनों से प्राप्त संसाधनों तथा लोगों और / या संस्थानों से प्राप्त दानराशि का उपयोग इस राहत प्रोग्राम में किया जा रहा है। इनके कार्यक्षेत्रों में शामिल हैंः

  • सोशल मीडिया एवं प्रोमोशनल क्रिएटिव/ वीडियोज़ की मदद से स्वास्थ्य विभाग द्वारा रोग की रोकथाम,
  • निदान एवं अन्य निर्देशों पर जानकारी का प्रसार
  • इस सेवा के लिए स्वयंसेवी डाॅक्टरों के सहयोग से टेलीचिकित्सा सुविधा
  • स्वयंसेवियों के सहयोग से ज़रूरतमंद लोगों तक आक्सीजन सिलिंडर का वितरण
  • धनराशि/दवाएं/उपकरण जुटाना