लखनऊ: उर्दू अदब की अज़ीम शख्सियत में शुमार बुज़ुर्ग शायर प्रोफेसर मलिक जादा मंज़ूर का लंबी बीमारी के बाद कल्याणपुर स्थित जगरानी अस्पताल में शुक्रवार दोपहर 2 बजे निधन हो गया। वो 90 साल के थे।
दिल की बीमारी से पीड़ित मलिक जादा मंज़ूर उत्तर प्रदेश उर्दू अकादमी के अध्यक्ष रहने के साथ गोरखपुर विश्विवद्यालय में उर्दू भाषा विभाग में लेक्चरर भी रहे।
उन्होंने भारत के साथ ही दुनिया के तमाम देशो में अपनी शायरी से लोगों के दिलों में जगह बनाई। वह लखनऊ यूनिवर्सिटी में उर्दू डिपार्टमेंट के प्रोफेसर के पद से रिटायर हुए थे।
प्रदेश के नगर विकास एवं अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री मोहम्मद आज़म खाँ ने उर्दू के मशहूर शायर व अदीब डा0 मलिकजा़दा मंजूर अहमद के निधन पर गहरे रंज-ओ-ग़म का इज़हार किया है। आज जारी एक शोक संदेश में श्री आज़म खाँ ने कहा कि डा0 मलिकज़ादा के निधन से उर्दू अदब को अपूर्णीय क्षति हुयी है।आज़म खाँ ने डा0 मलिकजा़दा मंजूर अहमद की मग़फिरत की दुआ करते हुये शोक संतप्त परिवार के प्रति अपनी हार्दिक संवेदना व्यक्त की है।
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