लखनऊ: उत्तर प्रदेश के राज्यपाल एवं कुलाधिपति, राम नाईक ने राज्य विश्वविद्यालययों/संस्थान में शैक्षिक सत्र 2015-16 में सम्पन्न होने वाले दीक्षान्त समारोह की तिथियाँ को अनुमोदन प्रदान कर दिया है। दीक्षान्त समारोह के तिथियाँ विश्वविद्यालयों की सुविधानुसार तय की गयी है। दीक्षान्त समारोह की तिथियाँ निम्नानुसार हैं:
1 संजय गांधी स्नातकोत्तर आयुर्विज्ञान संस्थान, लखनऊमा0 राष्ट्रपति महोदय की सुविधानुसार
2 डा0 शकुन्तला मिश्रा राष्ट्रीय पुनर्वास, विश्वविद्यालय, लखनऊमा0 प्रधानमंत्री जी की सुविधानुसार
3 उ0प्र0राजर्षि टण्डन मुक्त विश्वविद्यालय, इलाहाबाद16.10.2015 शुक्रवार
4 डा0 भीमराव अम्बेडकर विश्वविद्यालय, आगरा28.10.2015 बुधवार
5 छत्रपति शाहूजी महाराज विश्वविद्यालय, कानपुर02.11.2015 सोमवार
6 सम्पूर्णानन्द संस्कृत विश्वविद्यालय, वाराणसी05.11.2015 गुरूवार
7 उ0प्र0पंडित दीनदयाल उपाध्याय पशु चिकित्सा विज्ञान विश्वविद्यालय एवं गो0 अनुसंधान संस्थान, मथुरा17.11.2015 मंगलवार
8 महात्मा ज्योतिबा फुले रूहेलखण्ड, विश्वविद्यालय, बरेली20.11.2015 शुक्रवार
9 महात्मा गाँधी काशी विद्यापीठ, वाराणसी24.11.2015 मंगलवार
10 चैधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय, मेरठ05.12.2015 शनिवार
11 डा0 राम मनोहर लोहिया अवध विश्वविद्यालय, फैजाबाद 12.12.2015 शनिवार
12 बांदा कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय, बांदा19.12.2015 शनिवार
13 उत्तर प्रदेश प्राविधिक विश्वविद्यालय, लखनऊ24.12.2015 गुरूवार
14 भातखण्डे संगीत संस्थान सम-वि0वि0, लखनऊ09.01.2016 शनिवार
15 किंग जार्ज चिकित्सा विश्वविद्यालय, लखनऊ14.01.2016 गुरूवार
16 लखनऊ विश्वविद्यालय, लखनऊ19.01.2016 मंगलवार
17 चन्द्रशेखर आजाद कृषि एवं प्रोद्योगिक विश्वविद्यालय, कानपुर04.02.2016 गुरूवार
18 दीन दयाल उपाध्याय गोरखपुर विश्वविद्यालय, गोरखपुर08.02.2016 सोमवार
19 वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय, जौनपुर13.02.2016 शनिवार
20 सरदार वल्लभ भाई पटेल कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय, मेरठ19.02.2016 शुक्रवार
21बुन्देलखण्ड विश्वविद्यालय, झांसी27.02.2016 शनिवार
22 नरेन्द्र देव कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय, फैजाबाद04.03.2016 शुक्रवार
23 सिद्धार्थ विश्विद्यालय, कपिलवस्तु, सिद्धार्थनगर09.03.2016 बुधवार
राजभवन के ओर से समस्त राज्य विश्वविद्यालयों के कुलपतियों को भेजे गये पत्र में कहा गया है कि दीक्षान्त समारोह में आमंत्रित किये जाने वाले मुख्य अतिथियों के नामों के प्रस्ताव एवं मान्द उपाधि प्रदान करने तथा समारोह में पहले जानी वाली वेशभूषा के संबंध में पूर्व अनुमोदन प्राप्त करने के बाद विश्वविद्यालय स्तर पर समय से निर्णय लिये जाने से दीक्षान्त समारोह के आयोजन में सुगमता होगी।
राज्यपाल ने पूर्व के दीक्षान्त समारोह के अपने अनुभवों को देखते हुए सुझाव दिया था कि वेशभूषा में परिवर्तन होना चाहिए। इससे पहले पूर्व राष्ट्रपति स्व0 डाॅ0 कलाम ने भी दीक्षान्त वेशभूषा को ‘कोलोनियल युग‘ का बताते हुए कहा था कि इसे भारतीय होना चाहिए। राज्यपाल ने कहा है कि यदि हम वर्तमान दीक्षान्त समारोह की वेशभूषा के स्थान पर भारतीय वेशभूषा को प्रचलन में लायें तो यह डाॅ0 कलाम के प्रति श्रद्धांजलि स्वरूप होगा
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