लखनऊ। उत्तर प्रदेश में दो दिनों से लगातार हो रही भारी बारिश कई जिलों में आफत साबित हुई। दीवार ढहने की घटनाओं में 18 लोगों की मौत हो गई। सैकड़ों लोग घायल हो गए। तेज बारिश की नदियां भी उफान पर हैं। कई गांवों में बाढ़ का पानी घुस गया है और ग्रामीणों ने सुरक्षित स्थानों की पलायन शुरू कर दिया है।
भारी बारिश की वजह से जनजीवन बुरी तरह प्रभावित हुआ। शहरों में जलभराव से लोग परेशान रहे। उफनाते नालों का पानी सड़कों पर बहता रहा। कई जिले बिजली आपूर्ति बाधित होने की वजह से अंधेरे में रहे। मूसलाधार वर्षा की चपेट में आकर कई जिलों में मकान और दीवारे ढहने से लोगों को जान गंवानी पड़ी। सीतापुर के महमूदाबाद, महोली, सिधौली, कमलापुर और अटरिया में दीवार गिरने से चार लोगों की मौत हो गई जबकि 12 लोग जख्मी हो गए। नैमिषारण्य क्षेत्र में सड़क धंसने से हरदोई-सीतापुर मार्ग का संपर्क टूट गया है। गोंडा के परसपुर में क्षेत्र में दो पुलों के एप्रोच मार्ग धंस गए।
आजमगढ़ के मेंहनगर में रविवार सुबह कच्चा मकान ढहने से एक अधेड़ महिला की मौत हो गई जबकि बच्ची समेत दो लोग घायल हो गए। हरदोई में बारिश के दौरान अलग-अलग घटनाओं में दीवार गिरने से मलबे में दबकर चार लोगों की मौत हो गई। संडीला में आकाशीय बिजली गिरने से एक की जान चली गई। इटावा, उन्नाव और फर्रुखाबाद में भी दीवारें गिरने की घटनाएं हुईं। बरेली, शाहजहांपुर, एटा, अमरोहा, और बदायूं में घर गिरने से सात मौतें हुईं। मुरादाबाद के पाकबड़ा में मकान गिरने से पांच बच्चे घायल हो गए। रामपुर में पांच मकान गिरने से 12 लोग घायल हुए जबकि खेड़ा गांव में दीवार गिरने से सात साल के अजय की दबकर मौत हो गई। मकान ढहने से सम्भल, चंदौसी, शामली, कांधला, बिजनौर, सहारनपुर, मेरठ, मुजफ्फरनगर, बुलंदशहर में भी दर्जनों मकान बारिश की भेंट चढ़ गए और सैकड़ों लोग घायल हुए।
बाराबंकी में घाघरा का जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर पहुंच गया है। सीतापुर में घाघरा और शारदा का पानी कई गांवों में घुस गया है। बहराइच और लखीमपुर के हालात भी खराब हो चले हैं। बाराबंकी में एल्गिनब्रिज-चरसड़ी तटबंध में रायपुर मांझा के निकट कटान भी होने लगी है। सीतापुर के लहरपुर, बिसवां व महमूदाबाद तहसील क्षेत्र के सैकड़ों गांव बाढ़ की जद में आ गए हैं। लखीमपुर में ईसानगर क्षेत्र में घाघरा और तिकुनिया क्षेत्र में मोहाना नदी ने कटान शुरू कर दिया है। बहराइच के महसी तहसील क्षेत्र में पचदेवरी, पिपरी, कायमपुर व जरमापुर में कई घर और खेत नदी में समा रहे हैं। मुरादाबाद में रामगंगा, ढेला नदियां उफना गयी हैं तो बिजनौर में गंगा ने खादर क्षेत्र को जलमग्न कर कटान शुरू कर दिया है। मालन नदी की तेजधार नजीबाबाद में कटान कर रही है। अस्थाई रपटा बहने से कई गांवों का नजीबाबाद तहसील से सम्पर्क टूट गया है। शामली, बागपत और सहारनपुर यमुना भी रौद्र रूप में है। बरेली में भी रामगंगा कटान कर रही है। बनबसा बैराज से पानी छोड़े जाने से शारदा नदी भी उफान पर है। एटा में कई गांवों के खेत बाढ़ की चपेट में हैं। बागपत, मेरठ और गजियाबाद में हिंडन भी तेजी से पानी बढ़ रहा है।
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