लखनऊ: भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के कैण्ट वि0स0 क्षेत्र से प्रत्याशी दिलप्रीत सिंह‘डी.पी.’ ने वरिष्ठ कांग्रेसजनों के साथ आज कैंट वि0स0 क्षेत्र के तमाम मुहल्लों में सघन जनसम्पर्क कर वोट मांगा। प्रातः कनौसी, इन्द्रलोक कालोनी, कृष्णानगर कालोनी में, दोपहर में पटेलनगर, करेहटा, एवरेडी में तथा सायं इच्छुपुरी कालोनी, गीतापल्ली, चन्दरनगर आदि मुहल्लों में जनसम्पर्क करते हुए घर-घर जाकर वोट मांगा। सायं दिलप्रीत सिंह‘डी.पी’ के साथ प्रदेश कांग्रेस की उपाध्यक्ष अनुसुइया शर्मा, प्रदेश कांग्रेस के प्रवक्ता जीशान हैदर, वरिष्ठ पार्षद गिरीश मिश्रा, पुष्पेन्द्र श्रीवास्तव, सुमन प्रजापति, जीवनलाल श्रीवास्तव, शंकरलाल गौतम सहित कई वरिष्ठ नेता शामिल रहे।

कैण्ट विधानसभा क्षेत्र के मीडिया कोआर्डिनेटर सचिन रावत ने बताया कि प्रातः जनसम्पर्क कार्यक्रम के पूर्व उन्होने कांग्रेसजनों के साथ केन्द्रीय चुनाव कार्यालय में एक बैठक करके दिन भर के कार्यक्रमों की रूपरेखा तय करने के साथ ही अलग-अलग टोली बनाकर कांग्रेस कार्यकर्ताओं को जिम्मेदारी सौंपी। इस मौके पर यह निर्णय लिया गया कि व्यापक जनसम्पर्क करने के साथ ही कांग्रेस कार्यकर्ता विधानसभा क्षेत्र की समस्याओं को लेकर आम जनता के बीच जन-जागरण करेंगे।

जनसम्पर्क के दौरान कांग्रेस प्रत्याशी दिलप्रीत सिंह‘डी.पी.’ ने कहा कि आज लखनऊ राजधानी का कैण्ट विधानसभा विकास से पूरी तरह अछूता है। भारतीय जनता पार्टी का प्रत्याशी यहां से लगातार विधानसभा का सदस्य चुना जाता रहा है लेकिन चुनाव जीतने के बाद भाजपा के प्रत्याशी यहां मुड़कर दुबारा नहीं आते हैं। यहां की जनता से भाजपा के विधायकों का कभी कोई सरोकार नहीं रहा यही कारण है कि आज भी कैण्ट की जनता सीवर लाइन, जलभराव और बिजली, पेयजल की किल्लत से परेशान है इसके बावजूद कैण्ट की जनता ने भाजपा पर अपना बार-बार विश्वास जताया है लेकिन इस बार कैण्ट की जनता ने अपना मन बनाया है कि वह अपना विधायक उसे चुनेगी जो उनके सुख, दुख में शामिल होगा और विकास के लिए सतत प्रयत्नशील रहेगा। उन्होने कहा कि जनसम्पर्क के दौरान आम जनता में कांग्रेस के प्रति काफी रूझान देखने को मिल रहा है और जनता भाजपा की नीतियों और झूठ से आक्रोशित है। कैण्ट प्रत्याशी ने कहा कि कैण्ट की जनता के बीच वह काफी समय से काम कर रहे थे और यदि अपना आर्शीवाद उन्हें मिला तो वह सदैव जनता के बीच रहकर कार्य करेंगे। उन्होने कहा कि ‘नफरत हारेगी और मुहब्बत जीतेगी’।