सुरक्षा के लिये लगा लोहे का बोर्ड मलबे समेत छात्रों पर गिरा

(सत्य प्रकाश) संवाददाता

लखनऊ। गुरुवार सुबह राजधानी में तेजी से चल रहे मेट्रो के कार्य के दौरान एक बड़ा हादसा हो गया ।यह हादसा राजधानी के हसनगंज थानाक्षेत्र के लखनऊ विश्वविद्यालय के सामने चल रहे मेट्रो के निर्माण कार्य मे लोगो की सुरक्षा के लिये लगे लोहे के बोर्ड के मलबे के साथ गिरने से हुआ ,सुबह स्कूल जाते समय लोहे का यह भारी बोर्ड ,मलबे समेत कॉल्विन के दो छात्रों के ऊपर गिर गया। जिसमें एक छात्र की मौके पर ही मौत हो गई। मेट्रो की कार्यदायी संस्था की लापरवाही से एक छात्र की जान चली गई । वहीं दूसरे छात्र को भी काफी चोट आई है। फिलहाल उसकी हालत खतरे से बाहर है।

मिली जानकारी के अनुसार कॉल्विन ताल्लुकेदार में पढ़ने वाले 12वीं के दो छात्र घर से स्कूल जा रहे थे। मूल रूप से जनपद हरदोई के छोटा चौराहा महटवाना संडीला के निवासी सैयद मोहम्मद इस्माइल सईद (17) अपने सहपाठी जायद खान के साथ स्माइल गंज से परिवर्तन चौक होते हुए हनुमान सेतु के रास्ते कॉलेज जा रहे थे। जैसे ही वह दोनों कॉलेज के बाहर पहुंचे तभी सामने चल रहे मेट्रो के कार्य के दौरान निर्माणाधीन पिलर के ऊपर से भारी बोर्ड मलबा समेत दोनों छात्रों के ऊपर गिर गया।

इस हादसे में इस्माइल की मौके पर ही मौत हो गई। वहीं जायद को मौके पर मौजूद लोगों ने बचा लिया। हादसे की खबर पाकर पुलिस मौके पर पहुंच गई और घायल छात्र को विवेकानन्द पॉलीक्लिनिक पहुंचा दिया। वहीं मृत सईद को पंचनामा के लिए भेज दिया गया है।

वरिष्ठ चिकित्सक के बेटे की हुई हादसे मे मौत

प्राप्त जानकारी के अनुसार हादसे की चपेट में आए इस्माइल के पिता डॉ अशहर सईद संडीला के प्रसिद्ध चिकित्सक हैं। हादसे के बाद उनके परिवार को फोन के माध्यम से जानकारी दे दी गई है। वे परिवार समेत लखनऊ पहुंचेंगे। जवान बेटे के मौत की जानकारी पाकर पूरे परिवार में शोक का माहौल छा गया।

राजधानी में करीब दो वर्षो से चल रहे मेट्रो के कार्य के दौरान कई हादसे हो चुके हैं। फिर भी मेट्रो कारपोरेशन व प्रशासन की ओर से सुरक्षा के बंदोबस्त नहीं किए गये है मेट्रो का कार्य अभी शहर के सबसे व्यस्त इलाकों जैसे बलिर्गटन चौराहा, बापू भवन, हजरतगंज, लखनऊ विश्वविद्यालय मार्ग पर चल रहा है। इस समय पूरे हजरतगंज की सड़क को लोहे की भारी-भारी बोर्ड लगाकर संकरा कर दिया गया है। जिससे दिन भर भारी यातायात गुजरता है।

हजरतगंज चौराहे से लेकर परिवर्तन चौक तक यही हाल है। वहीं लखनऊ विश्वविद्यालय के सामने हनुमान सेतु से लेकर गेट नम्बर चार तक कार्य चल रहा है। जिसके लिए पूरी सड़क के बीच लोहे के मोटे-मोटे पैनल लगाए गए हैं। इन संकरे रास्ते से होकर दिनभर ट्रैफिक गुजरता है। यह रास्ते बेहद ही खतरनाक साबित हो सकते हैं। इन रास्तों के लिए अभी तक वैकल्पिक व्यवस्था नहीं की गई है।