जान और जहान को बचने के लिए सावधानी एवं स्वावलम्बन ही एकमात्र साधन: रामपाल सिंह


रुद्रपुर: विकसित भारत के लिए आत्मनिर्भरता ही मार्ग है इसका कोई विकल्प नहीं है। चीन की आर्थिक जकड़न से मुक्त होने को तैयार-तत्पर हों युवा । युवावों कि संकल्पबद्धता से ही आत्मनिर्भर स्वाभिमानी राष्ट्र की संकल्पना सिद्ध होगी । आत्मनिर्भता (self reliant) मुश्किल है मगर असंभव नहीं । आयुर्वेदिक दवाएं (ayurvedic drugs) भी विश्व का आकर्षण बन सकती हैं। आत्मनिर्भरता ही सुख, स्वाधीनता और संप्रभुता की गारंटी है।


उक्त बातें दीनदयाल उपाध्याय कौशल केंद्र, सरदार भगत सिंह राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय रुद्रपुर एवं भारतीय मानव कल्याण समिति नोएडा के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित संगोष्ठी आत्मनिर्भर भारत अभियान में मुख्य वक्ता महाविद्यालय के प्राचार्य प्रो कमल किशोर पांडेय ने कही । उन्होंने आगे कहा कि‘वोकल फॉर लोकल’ (vocal for local) का नारा भारतीय उत्पादों के लिए ही प्रधानमंत्री ने दिया है। प्रशिक्षण -शोध पर जोर देकर और तकनिकी का सदुपयोग आत्मनिर्भर भारत की संकल्पना साकार करेगी । समग्र तौर से कार्य करें तो सात से आठ वर्ष में भरता सभी क्षेत्रों में हो जायेगा आत्मनिर्भर । आपदा को अवसर में बदलने की अपार संभावनाएं है। विद्यार्थियों में जीवन कौशल एवं आत्म निर्भरता के गुर विकसीत करने का ध्येय लेकर ही मास्क बनाओ प्रतियोगिता का आयोजन किया गया। महाविद्यालय का धेय्य विद्यार्थियों कि प्रतिभा क्षमता निखर कर सुयोग्य नागरिक निर्माण करने की है। इसके लिए कौशल केन्द्र विभिन्न उपाय अपना रहा है ।


मुख्य अतिथि रुद्रपुर नगर निगम के मेयर रामपाल सिंह (rampal singh) ने कहा कि जिज्ञासा सफलता का पहला सूत्र है जान और जहान को बचने के लिए सावधानी एवं स्वावलम्बन ही एकमात्र साधन है। । जीवन की रफ्तार को अधिक नहीं रोका जा सकता है। जिंदगी को पटरी पर लाने के लिए ही आत्मनिर्भर भारत अभियान है । अनलॉक-2 (unlock-2) में सरकार ने मॉल और होटल इत्यादि शुरू कर इस दिशा में कदम बढ़ा भी दिए हैं। मास्क पहनने के साथ ही शारीरिक दूरी के मानकों का पालन करते हुए सभी अपने कार्यक्षेत्र में जुटें । कोविड-19 के खिलाफ संघर्ष में पीपीई का बड़ी संख्या में निर्माण उत्साह पैदा करने वाला है। दुसरें देशों पर निर्भरता घटाकर ही आत्मनिर्भर भारत की संकल्पना साकार होगी ।


कौशल केन्द्र के सहायक आचार्य एवं प्रतियोगिता के संयोजक डॉ हरनाम सिंह (Dr. Harnam Singh) ने कहा कि देश को प्रत्येक दृष्टि से आत्मनिर्भर बनाना हम सबका राष्ट्रीय कर्तव्य है। हम सभी लोकल वस्तुओं और सेवाओं का उपयोग कर उनकी ब्रांडिंग करें तभी स्वदेशी की वास्तविक संकल्पना सिद्ध होगी । विद्यार्थियों में जीवन कौशल एवं आत्म निर्भरता के गुर विकसीत करने का ध्येय लेकर मास्क बनाओ प्रतियोगिता का आयोजन किया गया । विद्यार्थियों ने अपनी कौशल क्षमता का प्रदर्शन करते हुए आत्मनिर्भर बनाने के लिए कलात्मक ढंग से खादी ग्रामोद्योग, सूती-कॉटन एवं विनिन्न डिजाइनर कपड़ों से 90 से ज्यादा प्रकार के मास्क बनाकर प्रदर्शनी लगाई ।


संगोष्टि में प्रतियोगिता के प्रतिभागियों को प्रणाम पत्र एवं सौ रुपये प्रोत्साहन देकर मेयर रामपाल सिंह एवं प्राचार्य प्रो कमल किशोर पांडेय ने प्रतिभागियों के सुन्दर-सुखद भविष्य की मंगलकामना की गयी । प्रतियोगिता का परिणाम निर्णायकों की समिति जिसमें डॉ राजेश कुमार सिंह, डॉ मनीषा तिवारी, डॉ राघवेन्द्र मिश्रा एवं डॉ विनोद कुमार ने हस्तनिर्मित, कलात्मकता एवं मितव्ययिता के आधार पर घोषणा किया । इस मास्क बनाओं प्रतियोगिता में अंकिता आर्या ने प्रथम स्थान प्राप्त किया । दुसरे स्थान पर अमृता उपाध्याय एवं रविका मैसी ने तृतीय स्थान प्राप्त किया। सांत्वना पुरस्कार मनु, नेहा यादव , रेनुका मैसी पूजा निषाद ,निकिता सिंह , विजय पाल, कमल बाबु, शशि, राधा, सूरज कुमार, इशरत जहाँ एवं दीपांशु हलदर को मिला । मितव्ययी -कलात्मक मास्क बनाने वाले वाले विद्यार्थियों महाविद्यालय के शिक्षकों ने अग्रिम देकर मास्क बनाने के लिए कहा। इस कड़ी में आर्थिक सहयोग देकर मास्क बनवाया जाएगा और निर्मित मास्क कौशल केंद्र के विद्यार्थियों द्वारा बिक्री की व्यवस्था की जाएगी जिसका लाभांश स्वयं विद्यार्थी का होगा जिससे विद्यार्थी आत्मनिर्भर होने के तरफ अग्रसर होंगे । विभन्न सामाजिक संस्थाओं और सक्षम महानुभाओं से इन विद्यार्थियो से मास्क बनवाने की अपील भी की गयी जिसमे सभी ने सहयोग करने की प्रतिबद्धता दिखाई । शारीरिक दूरी का पालन एवं समुचित सावधानियों के साथ यह कार्यक्रम हुवा जिसका लाइव फेसबुक पर हुवा । आभार ज्ञापन कौशल केन्द्र के विभागाध्यक्ष डॉ विनोद कुमार ने किया जिसमे परीक्षा प्रभारी डॉ पी एन तिवारी, एनएसएस के प्रभारी डॉ गौरव वार्ष्णेय , डॉ दिनेश शर्मा, डॉ रुमा साह, डॉ अमित कुमार सिंह, डॉ विद्या धर उपाध्याय डॉ आर के पाण्डेय, डॉ निर्मला जोशी, राजेश कुमार, डॉ एस के श्रीवास्तव, प्रमोद धींगरा, डॉ हरीश चंद्रा, डॉ रूमा शाह एवं रचित कुमार सिंह सहित सभी शिक्षकों ने मास्क प्रदर्शनी की प्रसंशा करते हुए प्रतिभागियों का मनोबल बढाया ।