रांची: रांची के स्पिनर शाहबाज नदीम भाग्यशाली रहे कि उन्हें शनिवार को दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ तीसरे टेस्ट मैच में टेस्ट डेब्यू करने का मौका मिला। 30 वर्षीय नदीम का टेस्ट पदार्पण का 15 सालों का इंतजार अपने होम ग्राउंड पर खत्म हुआ।

नदीम इस मायने में भाग्यशाली रहे कि वे तो शुक्रवार शाम तक भारतीय टीम में शामिल भी नहीं थे और विजय हजारे ट्रॉफी में रांची का प्रतिनिधित्व कर रहे थे। शुक्रवार को टीम इंडिया की नेट्स के दौरान कुलदीप यादव के बाएं कंधे में चोट लगी और उनकी जगह नदीम को कोलकाता से बुलवाकर टीम में शामिल करवाया गया। विजय हजारे ट्रॉफी में उनका प्रदर्शन बेहद निराशाजनक रहा था और वे 8 मैचों में मात्र 2 विकेट ले पाए थे।

बाएं हाथ के स्पिनर नदीम ने फर्स्ट क्लास क्रिकेट में 4 दिसंबर 2004 को जमशेदपुर में केरल के खिलाफ डेब्यू किया था। उनका फर्स्ट क्लास क्रिकेट में प्रदर्शन शानदार रहा है और उन्होंने 110 मैचों में 28.59 की औसत से 424 विकेट झटके हैं। उन्होंने दो बार एक रणजी सत्र मे 50 से ज्यादा विकेट लिए हैं। वे 106 लिस्ट ए मैचों में 27.80 की औसत से 145 विकेट हासिल कर चुके हैं।

नदीम का यह पहला टेस्ट मैच होगा और वे इसमें भारत के अनुभवी स्पिनरों रविचंद्रन अश्विन और रवींद्र जडेजा का साथ देंगे। रांची की पिच स्पिनरों की मददगार होती है और नदीम को अपने होम ग्राउंड पर खेलने का लाभ भी मिलेगा। वे इस मैच में यादगार प्रदर्शन कर इस मौके का पूरा लाभ उठाना चाहेंगे। रांची को फैंस को इस मैच में अब अपना एक स्थानीय खिलाड़ी इस मैच में खेलते हुए देखने को मिलेगा। महेंद्रसिंह धोनी टेस्ट क्रिकेट से संन्यास ले चुके हैं लेकिन नदीम की वजह से निश्चित रूप से जेएससीए स्टेडियम में रविवार को भारी संख्या में दर्शक पहुचेंगे।