तौसीफ कुरैशी

राज्य मुख्यालय लखनऊ।सपा कंपनी से नाराज़ होकर अपना झण्डा अपना डन्डा बनाकर भतीजे टीपूँ (अखिलेश यादव) को चुनौती दे रहे पूर्व काबीना मंत्री व सपा के मार्गदर्शक मुलायम सिंह यादव के भाई शिवपाल सिंह यादव ने रमाबाई मैदान में जनाआक्रोश रैली में हर विषय पर चर्चा की कि क्यों हमने अपनी पार्टी का गठन किया हमारी पार्टी का क्या काम होगा क्या नही आदि-आदि मोदी की भाजपा भी उनके निशाने पर रही साथ ही उन्होंने अपना एजेंडा भी जनता के सामने रखा इस रैली में लगभग दो लाख लोगों ने भाग लिया इस लिये कहा जा सकता है कि शिवपाल सिंह यादव कामयाब रहे है इस रैली की सबसे बड़ी कामयाबी मुलायम सिंह यादव की मौजूदगी थी लोग इसी पर चर्चा करते रहे कि नेताजी भी मौजूद है फ़िरोज़ाबाद में भी मौजूद थे और यहाँ भी क्या संदेश देना चाहते है अब तक लोग यह नही समझ पा रहे है। अब बात करते है शिवपाल सिंह यादव की कि उन्होने क्या कहा उन्होंने कहा कि यह रैली इस देश से भाजपा को हटाने के लिए बुलाई है।रैली में किसान मजदूर , मुसलमान से लेकर युवा दलित सब मौजूद हैं यह पहला मौका है जब रमाबाई मैदान में दलित पिछड़े गरीब किसान सब इकट्ठा हुए हैं।यहां से संदेश जाना है यही से परिवर्तन होना है।रैली का नाम जन आक्रोश रैली इस लिए रखा था कि देश और प्रदेश में जब भाजपा की सरकार बनी है सब दुखी है देश विषम परिस्थितियों से गुज़र रहा है देश पर संकट है भाजपा की सरकार जब-जब आई है इन्होंने ने भाई को भाई से लड़ाने का काम किया देश को कमज़ोर करने का काम किया देश क़ब्ज़ा और क़र्ज़ा मुक्त होना चाहिए देश पर बड़ा क़र्ज़ा है एक हज़ार छियासी वर्गमील पर पाकिस्तान का क़ब्ज़ा है चीन ने भी सीमा पर क़ब्ज़ा कर रखा है देश पर क़र्ज़ा और क़ब्ज़ा बढ़ रहा है आपका सीना 56 इंच का होगा लेकिन दम नही है आपके रहते क़र्ज़ा और क़ब्ज़ा दोनों बढ़ा है एक के बदले दस सर लाने का वादा किया था क्या हुआ उसका कोई जवाब नही है।रोज़ सीमा पर जवान शहीद हो रहे हैं भ्रष्टाचार कितना खत्म हुआ है ज़िलाधिकारियों के यहां भी कोई सुनवाई नही हो रही। विदेश से कालाधन लाने का वादा किया था हर किसी को 15 लाख देने का वादा किया था लेकिन क्या हुआ पाकिस्तान और चीन लगातार क़ब्ज़ा कर रहा है।उन्होंने कहा कि हमारे साथ छोटे-छोटे 44 दल है हमारे साथ नेताजी हैं 40 साल उनके साथ काम किया है आपको संबोधित करेंगे ये फैसला क्यों किया हम हमेशा नेताजी के साथ और समाजवादी पार्टी के साथ रहना चाहते थे मैंने कभी कोई पद नही मांग सीएम या मंत्री का पद भी नही माँगा नेताजी का आदेश हमेशा माना अपने परिवार में भी छोटे और बड़े का आदेश माना है हमने केवल सम्मान मांगा था इस के अलावा कुछ नही मांगा था हमने भी प्रयास किया आपने भी प्रयास किया कुछ चुगलखोरों की वजह से जिनके पास कोई जनाधार नही था उनके कहने पर यह सब हुआ हमने आप की इजाज़त से पार्टी बनाई भगवती सिंह , राम नरेश , राम सेवक यादव बैठे हैं सबके सामने आपने इजाज़त दी थी एक दिन बाद फिर पूछा तब पार्टी बनाई है किसान और गरीब परेशान है। उत्पीडन हो रहा है लड़कियां जो स्कूल जाती है वो भी खतरे में हैं हर कोई तनाव में हैं छोटा बड़ा वयापारी हर कोई तनाव में है हर कोई परेशान हैं 1989 अक्टूबर में जब आप सीएम थे आपने बाबरी मस्जिद बचाई थी देश मे दंगों को होने से रोका था।1992 में क्या हुआ बाबरी मस्जिद शहीद की गई बावजूद इसके की सरकार ने एफिडेविड लगाया था।आज नेता लोग मुसलमानों का नाम लेने में घबराने लगे हैं हम 25 नवम्बर को सड़कों पर निकल पड़े थे कि अयोध्या में दंगे नही होने देंगे धारा 144 का उलंघन होता है तो राष्ट्रपति शासन लगना चाहिए संविधान की रक्षा के लिए हमारी पार्टी सड़कों पर उतरी ईवीएम से बेमानी हो सकती है बैलेट पेपर से वोटिंग होनी चाहिए।